दुःख, दर्द और पीड़ा से भरे रांची के ईसाई पिछले तीन महीनों से मणिपुर की भयावह स्थिति को असहाय होकर देख रहे हैं । जिसे देखते हुए मौसम की प्रतिकूल परिस्थितियों की परवाह न करते हुए वे बड़ी संख्या में एक मौन मानव श्रृंखला बनाने के लिए निकले, जो अलग-अलग दिशाओं में कई किलोमीटर तक फैली हुई थी । मानव श्रृंखला का आह्वान क्रिश्चियन यूथ एसोसिएशन (JCYA), कॉन्फ्रेंस ऑफ रिलिजियस ऑफ इंडिया (CRI), रांची और रांची महाधर्मप्रांत के द्वारा किया गया था ।
इसके बाद विशाल मानव श्रृंखला जुलूस के रूप में संत मारिया महागिरजा की ओर बढ़ी, जिसमें भारी भीड़ अन्दर शामिल नहीं हो सकी, अतः उसके बाद परिसर और सड़कों पर फैल गई । मणिपुर में शांति और पूरे देश में सद्भाव की मजबूती के लिए प्रार्थना के साथ एक प्रार्थना सभा आयोजित की गई ।
फादर मारियानुस कुजूर एसजे, एक्सआईएसएस के निदेशक ने मणिपुर राज्य की स्थिति का विश्लेषण पेश किया और बताया कि मणिपुर के लोगों की मदद के लिए हमारी भूमिका क्या हो सकती है ।
रांची के कैथोलिक आर्कबिशप फेलिक्स टोप्पो एसजे ने शांति की जोरदार अपील की । एनजीईएल चर्च के बिशप राकेश टोप्पो ने मणिपुर राज्य में जो कुछ हो रहा था, उस पर सभी ईसाइयों का दर्द व्यक्त किया । बिशप सीमांत तिर्की ने मणिपुर की कठिन स्थिति के शीघ्र समाधान के लिए प्रार्थना की ।
मणिपुर और देश में शांति के लिए विश्वासियों के द्वारा प्रार्थना की गई ।
समापन भाषण में राँची के सहायक बिशप थियोडोर मैस्करेनहास एसएफएक्स ने बताया कि मणिपुर में जो कुछ हो रहा है, वह लंबे समय से हो रहे नफरत के प्रसार का परिणाम है । उन्होंने चेतावनी दी कि अगर हम सावधान नहीं रहे तो वही भाग्य हमारा इंतजार कर रहा है । उन्होंने चिंता व्यक्त की कि झारखंड में नफरत फैलाने के लिए धर्मांतरण और ईसाइयों को मूल सूची से हटाने जैसे गैर-मुद्दों को हवा देकर नफरत फैलाई जा रही है। हाल ही में एक धर्मबहन की गिरफ्तारी की गयी थी, क्योंकि वह अपने घर पर धन्यवाद ज्ञापन के साथ अपने धर्मसमाजी मन्नत ख़ुशी मना रही थी, यह दर्शाता है कि नफरत की बुरी ताकतें कितने नीचे तक गिर सकती हैं ।
क्रिश्चियन यूथ एसोसिएशन के अध्यक्ष कुलदीप तिर्की और सिस्टर संगीता नागेशिया एचसी ने कई स्वयंसेवकों के साथ मौन मानव श्रृंखला की सफलता के लिए अथक प्रयास किया ।